देवब्रत मंडल
फ्रांस के भारत में राजदूत थिएरी मथौ पिछले 19 सितंबर से 22 सितंबर तक बिहार के दौरे पर हैं। गया मोक्ष की भूमि है तथा यहां पितृपक्ष मेला आयोजित है। पितृपक्ष मेला में लाखों लाख की संख्या में लोग देश-विदेश से यहां आते हैं और अपने पूर्वजों की तर्पण करते हैं। उन्होंने शनिवार को अहले सुबह इच्छा जाहिर की कि वे पितृपक्ष मेला को नजदीक से देखना चाहते हैं, सरकार एवं प्रशासन द्वारा पितृपक्ष मेला के अवसर पर कैसे और किस प्रकार तैयारी पिंडदानियों के लिए करते हैं। इसे करीब से महसूस करना चाहते हैं। इसके बाद वे सुबह सीताकुंड पहुंचकर पिंडदानियों द्वारा किए जा रहे कर्मकांड “तर्पण” को देखा और समझा कि किस प्रकार से सनातन धर्म के मानने वाले लोग तर्पण करते हैं।
डीएम ने उन्हें उपलब्ध कराई जा रही सुविधाओं से बिंदुवार अवगत करवाया
जिला पदाधिकारी डॉ त्यागराजन एसएम में उन्हें पितृपक्ष मेला के अवसर पर देश विदेश के कोने-कोने से आने वाले सभी तीर्थयात्रियों के लिए राज्य सरकार एवं जिला प्रशासन द्वारा दिए जाने वाले सुविधाओं के बारे में उन्हें बिंदुवार अवगत कराया। जिला पदाधिकारी ने बताया कि वर्ष 2022 के पहले तीर्थ यात्री नदी में अर्थात बालू पर बैठकर पिंडदान करते थे, चुकी फल्गु नदी पितृपक्ष मेला अवधि में ज्यादातर सूखी रहती थी, परंतु मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने वर्ष 2022 में गयाजी डैम का निर्माण कराया और व्यवस्था की गई कि सालों भर इस नदी में पानी रहे। इस भगीरथ प्रयास से सभी तीर्थयात्री काफी प्रसन्न दिख रहे हैं। जो उन्हें अपने पूर्वजों के तर्पण हेतु फल्गु का पानी मिल रहा है। इसके अलावा उन्होंने बताया कि तीर्थयात्रियों को देवघाट से सीता कुंड जाने के लिए काफी लंबा रास्ता तय करना पड़ता था इसे देखते हुए उन्होंने गयाजी डैम को पूल से जोड़ते हुए सीतापथ का निर्माण करवाया जहां लोग अब आसानी से देवघाट से सीताकुंड जा सकते हैं। उन्होंने बताया कि साल दर साल तीर्थ यात्रियों की संख्या में लगातार वृद्धि हो रही है। इसलिए राज्य सरकार द्वारा हर वर्ष व्यवस्थाओं के नए-नए आयाम लाए जा रहे हैं। डीएम ने फ्रांस के राजदूत को यह भी बताया कि इस वर्ष मुख्यमंत्री द्वारा विष्णुपथ का लोकार्पण किया इस पथ के निर्माण होने से तीर्थयात्री जाम की समस्या से बचते हुए बाईपास पुल से सीधे घाट पर आ रहे और मंदिर दर्शन भी कर रहे।
डीएम ने कहा-सीएम के भगीरथ प्रयास से इस वर्ष गंगाजल उपहार में दिया जा रहा
मुख्यमंत्री के भगीरथ प्रयास के कारण गया एवं बोधगया के हर घरों तक एवं सभी पिंड वेदी स्थल पर गंगाजल पहुंचाया गया है। जिससे लोग काफी प्रसन्न है। इसके अलावा इस वर्ष जल संसाधन विकास एवं सुधा डेयरी के संयुक्त कार्ययोजना के तहत ‘गंगाजल’ को पैकेजिंग कराकर तीर्थ यात्रियों के बीच उपहार स्वरूप वितरण कराया जा रहा है। इस पर फ्रांस के भारत में राजदूत थिएरी मथौ ने इन सभी कार्यो को देख कर मुख्यमंत्री एवं राज्य सरकार के प्रति आभार प्रकट किया। साथ ही उन्होंने जिला पदाधिकारी एव अन्य प्रशासनिक एवं पुलिस पदाधिकारी के प्रति प्रशंसा व्यक्त करते हुए कहा कि इतनी बड़ी भीड़ की संख्या को कंट्रोल करना काफी बखूबी रूप से किया जा रहा है।
इस बात को लेकर भी फ्रांस के राजदूत ने प्रसंशा की
नदी के पानी को लगातार साफ करने की व्यवस्था इसके अलावा घाट में निरंतर हो रही सफाई पर भी उन्होंने खुशी जाहिर किया है। तीर्थ यात्रियों को कहीं कोई असुविधा नहीं हो इसके लिए घाट पर पुलिस बल भी लगातार यात्रियों को गाइड कर रहे हैं, जो अति बुजुर्ग तीर्थ यात्री हैं उन्हें व्हीलचेयर के माध्यम से सोशल वर्कर्स द्वारा उन्हें सहायता दी जा रही है। इसके अलावा मेडिकल टीम भी लगातार उनकी सेवा में लगी है। इन सभी चीजों को देखकर राजदूत में काफी प्रशंसा व्यक्त किया है एवं सफल तरीके से यह मेला सम्पन्न होने के लिए उन्होंने शुभकामनाएं दिया है। इस अवसर पर फ्रांस के राजदूत के साथ अन्य प्रतिनिधि गण, नगर पुलिस अधीक्षक, अपर समाहर्ता राजस्व, अपर समाहर्ता विधि व्यवस्था, अपर समाहर्ता विशेष कार्यक्रम, अनुमण्डल पदाधिकारी सदर सहित अन्य पदाधिकारी उपस्थित थे।